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Wp/mag/फूल बहादुर

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फूल बहादुर भारतीय लेखक जयनाथ पति द्वारा मगहीभाषामे लिखल गेल एगो उपन्यास हे जे १९२८ मे प्रकाशित भेलहल आउ मगहीभाषामे लिखल गेल पहिला उपन्यास हल ।[1][2] ई एगो हास्य उपन्यास हल आउ अप्रैल मूर्ख दिवस पर पहिला अप्रैलके प्रकाशित भेलहल ।[3] [4]

एकर लेखक नवादा (बिहार) के उद्भट विद्वान, स्वतन्त्रता सुराजी आउ मगहीके प्रथम उपन्यासकार बाबू जयनाथ पति हथिन ।[5] मगही उपन्यासके शृङ्खलामे 'फूल बहादुर' प्रकाशनके दृष्टिसे दोसरा आउ उपलब्धताके दृष्टिसे पहिला उपन्यास हे । काहेकि मगहीके पहिला उपन्यास 'सुनीता' (रचना १९२७, प्रकाशन १९२८) जेकर लेखक जयनाथ पतिये हथिन, अखन उपलब्ध न हे । 'फूल बहादुर' के प्रकाशन औपनिवेशिक भारतमे बीसमा शताब्दीके तेसर दशकमे १ मई १९२८ के भेलहल । [6]

ई मगही उपन्यासके कथावस्तुके केन्द्रमे मनुष्यके नैतिक पतन आउ ब्रिटिशकालीन भारतमे व्याप्त भ्रष्टाचार हे । हास्य-व्यंग्यके कचोटेवाला शैलीमे लिखल गेल 'उपन्यासके नायक सामलाल बिहारशरीफमे कार्यरत एगो मोख्तार हे । ऊ कौनो कीमत पर रायबहादुर के पदवी पावेला बेचैन हे । एकराला ऊ अधिकरीके खुशामद करहे । नवागन्तुक अनुमण्डलाधिकारीके सुरा-सुन्दरी उपलब्ध कराके ऊ अपन मनोकामना पूरा कैल चाहहे किन्तु ओकरा सफलता न भेटे । नगरके लोग ओकर व्यग्रताके देखके रायबहादुर बनावेके एगो फर्जी आदेश ओकरा भिजुन भेजके ओकरा मूर्ख बनाहथ । रायबहादुरके बदले ऊ फूल बहादुर बन जाहे । मोख्तारीके अनुभवके ऊपर पर रचित ई उपन्यासमे तत्कालीन कचहरी आउ सरकारी अधिकारीमे व्याप्त भ्रष्टाचार पर करारा प्रहार कैल गेलहे । एकरामे नगरीय आउ कचहरीके दन्ने के परिवेश पर प्रकाश डालल गेलहे ।'[7] उपन्यासमे प्रयुक्त भाषा नवादा अञ्चलमे बोले जायेवाला मगही हे ।

मगहीके ई पहिला उपलब्ध उपन्यासके दोसरा संस्करण १९७४ मे बिहार मगही मण्डल, पटना (बिहार) प्रकाशित कैलक हल । फेर मगही भाषाप्रेमी नारायण प्रसाद २००८ मे एकरा अपन ब्लॉग पर प्रस्तुत कैलन । 'फूल बहादुर' के तेसरा संस्करण इहे बरिस २०१८ मे प्यारा केरकेट्टा फाउण्डेशन, राँची (झारखण्ड) द्वारा प्रकाशित कैल गेलहे । एकरा प्रति archive.org[8] से निःशुल्क डाउनलोड कैल जा सकहे ।

इहो देखी

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सन्दर्भ

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  1. Sinha, Bindeshwari Prasad (2003). Kayasthas in Making of Modern Bihar (अङ्ग्रेजी मे). Impression Publication. प॰ 252.Wp/mag/सीएस१ रखरखाव: नामालूम भाषा (link)
  2. Prasad, Bindeshwari Sinha (1976). Comprehensive History of Bihar, Volume 3, Issue 2 (अङ्ग्रेजी मे). Kashi Prasad Jayaswal Research Institute. प॰ 605.Wp/mag/सीएस१ रखरखाव: नामालूम भाषा (link)
  3. Singh, Kapil Dev (1969). Magahi ka adhunika sahitya, Volume 1 (हिन्दी मे). Parichat Prakasan. प॰ 7.Wp/mag/सीएस१ रखरखाव: नामालूम भाषा (link)
  4. A Magahi Novel : Fool Bahadur Outlook India 16 July 2022 (अङ्ग्रेजी)
  5. सम्पत्ति आर्याणी, मगही भाषा और साहित्य, बिहार राष्ट्रभाषा परिषद, पटना, 1976
  6. मगही भाषा के इतिहास में खास है अप्रैल की पहली तिथि https://www.prabhatkhabar.com/news/nawada/story/377445.html
    Archived 2018-04-26 at the वेबैक मशीन
  7. मगही साहित्य का इतिहास, मगही अकादमी, 1998
  8. https://archive.org/details/PhulBahadur

बाहरी कड़ी

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