Wp/mag/मिथिलाक्षर
Appearance
ब्राह्मी |
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ब्राह्मी आउ ओकरासे व्युत्पन्न लिपि |
उत्तरब्राह्मी
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तिरहुतालिपि वा मिथिलाक्षर लिपि अथवा मिथिलाक्षर के प्रयोग लोग भारतके उत्तर बिहार आउ नेपालके तराई क्षेत्रके मैथिलीभाषाके लिखेला करहथ । एकरा 'मैथिली लिपि', 'वैदेही लिपी'-ओ कहल जाहे । ई लिपिके प्राचीनतम नमूना दरभङ्गा मण्डलके कुशेश्वरस्थान भिरु तिलकेश्वरस्थानके शिव मन्दिरमे हे । ई मन्दिरमे पूर्बी बिदेह प्राकृतमे लिखल हे कि मन्दिर 'कात्तिका सुदी' (अर्थात् कार्तिक शुक्ल प्रतिपदा) शके १२५ (अर्थात् २०३ ई) मे बनल हल । ई मन्दिरके लिपि आउ आधुनिक तिरहुतालिपिमे बड्डी कम अन्तर हे ।